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बैंक कर्मियों की मनमानी,बेरोजगारो पर पड़ रही भारी

Monday, October 17, 2022

/ by Today Warta


 

राकेश केसरी

प्रधानमंत्री मुद्रा योजना से जिले के एक भी बेरोजगार को नही मिला रोजगार

कौशाम्बी। सरकार द्वारा देश के शिक्षित बेरोजगारो को भले ही रोजगार देने के रोज बडे-बडे दावे किये जा रहे है। परन्तु जनपद के शिक्षित बेरोगारो को आज भी प्रशासनिक उपेक्षा के चलते महीनो जिला उद्योग विभाग, खादी ग्रामोंद्योग विभाग तथा बैकों के चक्कर लगाते-लगाते थक हार कर इकठ्ठी पूजी गंवाकर सरकार तथा सरकार की योजनाओ को कोसते ऐसे सैकडो शिक्षित बेरोजगार नवयुवक नजर आ जायेगे। जबकि प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत जिले के एक भी शिक्षित बेरोजगार को बैंक कर्मियो की उपेक्षा से रोजगार नही मिल सका। केन्द्र सरकार जहॉ शिक्षित बेरोजगारो को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत पचास हजार से लेकर एस लाख रुपये तक का ऋण बैंको को आसानी से उपलब्ध कराने का निर्देश है, वही जिला उद्योग केंन्द्र व खादी ग्रामोद्योग केंन्द्र के माध्यम से प्रधानमंत्री रोजगार योजना के अर्न्तगत योजना मे शिक्षित बेरोजगारो को उनके अंक पत्र व प्रमाण पत्र के बदले एक लाख से 5 लाख तक रुपये का ऋण देने की गारण्टी देने की बात कही है। वही प्रदेश सरकार द्वारा मुख्यमंत्री योजना के तहत ऐसे शिक्षित बेरोगारो को जो अपना खुद का उद्योग स्थापित करना चाहते है। उनके लिए 5 लाख रुपए तक का ऋण देने का प्रवधान सुनिश्चित किया गया है। किन्तु इस योजना का लाभ जनपद का शिक्षित बेरोजगार जब इन विभाग व बैकर्स का चक्कर लगाता है। तब उसे सरकार की इस योजना की हकीकत मालूम हो जाती है। इस प्रकार प्रधानमंत्री रोजगार योजना से ऋण प्राप्त करने से पहले सुविधा शुल्क देकर इन्टव्यू मे पास किया जाता है। इसके बाद उसको कई महीने चक्कर लगाने के बाद ही उसे धनराशि प्राप्त होती है। इस तरह सरकार द्वारा इन योजना का लाभ पाने के लिये आवेदको को क्या-क्या पांपड नही बेलने पडते है। किन्तु उसे खेद है कि ऋण का 5वां भाग तो उसे सुविधा शुल्क के रुप मे ही चुका देने पडते है। यही हाल मुख्यमंत्री रोजगार योजना का है। कुछ भी हो जिला प्रशासन इस बात कि कभी भी हकीकत जानने कि कोशिश नही कि दिनो दिन जनपद मे उद्योग स्थापित करने को लेकर इच्छुक शिक्षित बेरोजगारो के सामने किस तरह की समस्याये आती है, और उन्हे किन कठिनाईयो का सामना करना पडता है और शिक्षित बेरोजगारो को उद्योग स्थापित करने के लिए कितने कठिनाईयो का समाना करना पडता है। शिक्षित बेरोजगारो ने जिलाधिकारी से मांग कि है उद्योग स्थापित करने मे बैकों व विभाग के द्वारा आने वाली कठिनाईयो को दूर करने कि पहल करे, जिससे जिले मे उद्योग स्थापित हो और लोगो को काम मिले।


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