राकेश केशरी
कौशाम्बी। मौसम खेती.किसानी के लिये मुफीद बना हुआ है। कोहरा और धूप का गठजोड़ फसल के लिए वरदान साबित हो रहा है। किसानों को चिंतित करने वाला पाला इस बार नहीं पड़ा। फाल्गुन शुरू होने में अभी 14 दिन बाकी हैं, यदि मौसम में कोई बड़ा उलटफेर न हुआ तो अबकी पैदावार भरपूर होगी। जिले में रबी की फसल का रकबा करीब 1.65 लाख हेक्टेयर के करीब है। नवंबर में गर्मी होने से किसानों को रबी की फसल की सिंचाई के लिए खासा परेशान होना पड़ा था। किसानों को ठंड का सहारा मिलना जरुरी था। ठंड देर से आई लेकिन 26 दिसंबर के बाद ठंड ने ऐसा जोर पकड़ा कि वह रबी की फसल के लिए संजीवनी सरीखी हो गयी। पानी तो नहीं बरसा लेकिन कोहरा व धूप होने से फसल पर कोई विपरीत प्रभाव नहीं पड़ा। किसान को एक से दो सींच की जरुरत रही, जिसे वह पूरा करता रहा। अब गेंहू, सरसों व दलहन की फसल अंतिम दौर में चल रही है और मौसम का मिजाज किसानों का साथ दे रहा है। असल में गेंहू की फसल के लिए कोहरा की जरुरत होती है वहीं दलहन व तिलहन के लिए धूप की। इस साल अधिकतम तापमान 15 से 20 डिग्री के बीच बना हुआ जिससे दिन में ठंड कम है वहीं रात का तापमान 6 से 8 डिग्री के बीच है। इसके चलते गेंहू की फसल को पूरी नमी मिल रही है। जबकि इस बार पाला न पडने से आलू की पैदावार बंपर होने की संभावना है। जिले में आलू का रकबा 8 हजार हेक्टेयर है तथा सिराथू व कड़ा क्षेंत्र को आलू की बेल्ट मानी जाती है। यहां पर किसान आलू की फसल से खुश है। जिला उद्यान अधिकारी के मुताबिक आलू की फसल के लिए 15 डिग्री का तापमान होना चाहिए। इस समय उसके अनुरुप है। पाला पडने की फिलहाल कोई संभावना नहीं है लेकिन किसान एक पानी जरुर लगाएं।