आलोक मिश्रा
कौशम्बी। जिलें में थाना पिपरी पुलिस इन दिनो कमाई के मामले में जनपद के सभी थानो को काफी पीछे छोड़ दिया है। राष्ट्रीय राजमार्ग पर स्थित थानो में इतनी कमाई नही होती जितनी कमाई इस थाने में हो रही है। इसलिए इस थाने में आने के लिये दरोगा से लेकर सिपाही तक लालायित रहते है। गौरतलब हो कि जिस तरह से थाना पिपरी पुलिस धन उगही के मामले में बुलंदियो के शिखर पर चढ़ती जा रही है उससे तो यही अंदाजा लगाया जा सकता हैं कि जिलें के अन्य थाने इससे बहुत पीछे हैं। इस थाना की पुलिस अपराधिक मामलों को बोनस की कमाई समझती है। इस थाने की पुलिस का आमदनी का प्रमुख जरिया वाहनों से अवैध वसूली है। यहां पर यमुना नदी का किनारा इस थाना क्षेंत्र के मार्ग से होकर निकलने का आसान रास्ता है और सभी बालू से लदी ट्रकें इसी मार्ग से होकर गुजरती है। हर ठेकेदार गाड़ी वाले हर माह एक निश्चित रकम पिपरी थाना पुलिस को देते है। इसी प्रकार से प्राइवेट बसो,जीप,टैम्पो जो करारी, पश्चिमशरीरा, सरांयअकिल, जो पिपरी थाने से होकर इलाहाबाद जाती है। जिनसे एक निश्चित रकम ली जाती है। थानाध्यक्ष पिपरी की कार्य कुशलता यह है कि चोर को कहते है चोरी करो,शह को कहते है जागो। सूत्रो के मुताबिक इस थानें की लाखों रुपए की प्रतिमाह अवैंध वसूली से कमाई आती है। अवैध धंधों का तो इस थाना क्षेत्र में जाल बिछा हुआ है। जब से वर्तमान थानाध्यक्ष ने कार्य भार ग्रहण किया है अराजक तत्वो व दलालो की चांदी ही चांदी है। स्थानीय नागरिको ने हो रही अवैध वसूली पर रोक लगाये जाने की मांग किया है।

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